Thursday, 16 June 2016

हिंदुस्तान में एक मर्द की औकात .................. !!!!!!!!!! एक कड़वा सच

समाज और देश के अनछुए  मुद्दों, से आप को परिचित करने का प्रयास .................. II


जो समाज या देश किसी समस्या की जमीनी हकीकत को नकारकर चलता है, वो कभी भी ताकतवर नहीं बन सकता, ................. उसे हराना सबसे आसान है क्योकि वो अन्दर से खोखला है .......................         

समाजहित और देशहित में,  एक  सवाल ,...................      आप सभी के सुझाव और प्रतिक्रियाएं सदर आमंत्रित हैं ................


क्या आज  के समय में एक पति / भाई या परिवार का कोई भी पुरुष आत्याधिक दबाब में जी रहा है ...........???    

  जरा सोचो ............. आज हमारे जितने भी खर्चे बढे,  उनको पूरा करने का दबाब तो पुरुष पर ही है . साधारणतया औरतें या तो कमाती ही  नहीं ,...................ज्यादातर पति की कमाई पर ही रह रही हैं, और अगर कमाती  भी हैं,............  तो वे अपनी कमाई तो पति पर / परिवार पर खर्च करती ही नहीं .................. और गलती से  अगर खर्च करेगी,  तो फिर एहसान इतना दिखा देंगी कि -- जैसे तो खरीद ही लिया हो ...............!!!

No comments:

Post a Comment