Thursday, 14 January 2016

रोहतक, के वकीलों ने जजों की जबाबदेही कानून लाने के लिए सौंपा ज्ञापन.............





-जब कानून के दुरूपयोग पर सभी को सजा है, तो जजों को क्यों नहीं?

रोहतक: न्यायपालिका में बढ़ रही तानाशाही के चलते जजो की जबाबदेही कानून लाने के लिए वकीलों व प्रबुद्धजनों ने आज जिलाधीश के माध्यम से प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा।
अधिवक्तागन ने बताया कि पिछले कुछ वर्षों में देश की न्यायपालिका में तानाशाही का रुख अखतियार किया है। कई न्यायाधीश पिडित लोगों की समस्या का समाधान करने की बजाए जनता को डराने के लिए कन्टेम्पट ऑफ कोर्ट एक्ट त...था गलत तरीके से जेल भेज कर लोगों को डराने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि गलत कार्य करने तथा कानून का दुरूपयोग करने पर जब डाक्टर, इंजिनियर, ड्राईवर, पुलिस अधिकारी, प्रशासनिक अधिकारी, वकील, सांसद, मंत्री व आम जनता को सजा हो सकती है तो जानबूझ कर कानून का दुरूपयोग करने वाले जजों को सजा क्यों नहीं हो सकती?
प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि भारत की न्याय व्यवस्था अंग्रेजों की देन है, जिन्होंने गुलाम रखने के लिए इस प्रकार की न्याय व्यवस्था को बनाया था, किन्तु आज आजादी के इतने वर्षों बाद भी हम उसी व्यवस्था को ढो रहे हैं। उन्होंने कहा कि न्यायपालिका की कमियों के चलते लोगों को न्याय नहीं मिल पाने के कारण कमजोर लोगों का जमकर शोषण हो रहा है। उन्होंने बताया कि इस ज्ञापन के माध्यम से प्रधानमंत्री जी से मांग की गई है कि आज इस बात की आवश्यकता हो गई है कि देश की न्यायपालिका को जिम्मेदार बनाने के लिए, जजों की जवाबदेही कानून लाना बेहद जरूरी हो गया है। इसलिए 130 करोड़ लोगों की समस्या को देखते हुए जल्द से जल्द जजों की जवाबदेही सुनिश्चित करने वाला कानून बनाने की प्रक्रिया शुरू की जाए। इस कदम से देश में बहुत बड़ा बदलाव आएगा तथा भारत बेहतर लोकतांत्रिक देश बनेगा।
इस अवसर पर इस अभियान की शुरुआत करने वाले रेवाड़ी के सामाजिक कार्यकर्ता मनोज विश्वकर्मा, अधिवक्ता दीपक भारद्वाज, अधिवक्ता नितिन बंसल जैन, सौरभ त्यागी एडवोकेट, शैलेश, कमल आदि प्रबुद्धजन उपस्थित थे।

2 comments:

  1. जल्दी ही मथुरा, आगरा, पंचकुला, रोपड़, लुधिअना, भिवानी, हिसार, फतेहाबाद, सिरसा, गुडगाँव, फरीदाबाद से भी ज्ञापन देंगे ..................

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