Saturday, 19 March 2016

क्या हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपिंदर हुड्डा के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा दर्ज नहीं किया जाना चाहिए ............???


जाट आरक्षण में तोड़फोड़, आगजनी और लूटपाट की घटनाओं में , हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के नेता भूपिंदर सिंह हुड्डा की भूमिका , एक खतरनाक अपराधिक मानसिकता वाले व्यक्ति के रूप में , सामने आई है । मुख्यमंत्री जैसे जिम्मेदार पद पर रहते हुए भी और अब भी जनता की खून पसीने के टैक्स के पैसे पर, मजे लूटने वाले व्यक्ति का, ऐसे षड्यंत्र में शामिल पाया जाना , एक खतरनाक अपराध है , इसलिए भूपिंदर सिंह हुड्डा पर देशद्रोह का मुकदमा दर्ज करके , जेल डाला जाये और नुकसान की भरपाई इसके परिवार की संपत्ति जब्त करके की जाये ।
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 तीन ऑडियो क्लिप और आये है एक में खुद हरियाणा का पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा कह रहे हैं कि 10 जाट मरे या 20 मरे तो मर जाने देना लेकिन पूरे हरियाणा में आग लगा दो हमें कुछ भी करके सत्ता में वापसी करनी है.
साभार: जीतेन्द्र प्रताप सिंह

Why no Punishment to Judges on Misuse of Laws ...............???


अफज़ल इशरत सभी को दिखते हैं, पर देश के इन सितारों की ये बेइज्जती किसी को नहीं दिखती.

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आज अपने चारों तरफ देख लीजिये, हर व्यक्ति घुटन और डर के साये में जी रहा है ....... Article no. 2

आज अपने चारों तरफ देख लीजिये, हर व्यक्ति घुटन और डर के साये में जी रहा है ....... Article no. 2
कोई तो इस बात से दुखी है कि उसके पास धन दौलत नहीं, ..….................तो कोई इस बात से दुखी है कि उसके बच्चे कामयाब नहीं,.....…........ बड़ी वेतन वाली नौकरी पर नहीं ........., धन दौलत नहीं .............
लेकिन आप ये जानकर भी हैरान होंगे कि जिनके बच्चे कामयाब है, अच्छी नौकरी पर है, वे इस देश में सबसे ज्यादा दुखी हैं । जानते हैं क्यों .....???
ऐसा इसलिए, आजकल स्कूल , कॉलेज में ये तरीके सिखाये जा रहे है कि कोई भी लड़की किसी के खिलाफ झूठे केस कैसे दर्ज करवा सकती है...........…...??? , और उसका कुछ भी नहीं बिगाड़ सकता ......!!!
उसका नतीजा ये है कि बुजुर्ग लोग तो सादगी और भोलेपन में जीते रहे कि --- उनके साथ तो ऐसा हो ही नहीं सकता .......???
और चालाक और ट्रेनिंग प्राप्त औरतें , मुफ़्त की आज़ादी का मजा लूट रही है । धमकियों और झूठे केस और जेल भेजने का डर बनाकर , जमकर अवैध वसूली और शोषण किया जा रहा है। ऐसे कई लोगों को इन हालातों से गुजरते हुए देख रहा हूँ । ऐसे हालातों को देखकर , मुझे मजदूरी करके काम करने वाला व्यक्ति , हिंदुस्तान का सबसे सुखी आदमी , दिखाई देता है। और ये सब काम हमारे खून पसीने की कमाई से दिए गए टैक्स के पैसे के दम पर हो रहा है । फिर भी हम इतने गुमराह किये जा रहे हैं कि हम सच पर विश्वास करने को तैयार ही नहीं ........!! आप माने या न माने , लेकिन सच यही है .......

आज अपने चारों तरफ देख लीजिये, हर व्यक्ति घुटन और डर के साये में जी रहा है ....... कदम 2 पर अवैध वसूली और खून चूसने का काम बड़े सुसंगठित तरीके से

आज अपने चारों तरफ देख लीजिये, हर व्यक्ति घुटन और डर के साये में जी रहा है ....... कदम 2 पर अवैध वसूली और खून चूसने का काम बड़े सुसंगठित तरीके से चल रहा है । महिला थाने, महिला सेल, महिला आयोग, अय्याश व दलाल किस्म के लोग, सरपंच , सामाजिक प्रधान, छुटभइये नेता , चरित्रहीन औरतों के माध्यम से एक गैंग के रूप में काम कर रहे है । जिनका काम निर्दोष लोगों पर झूठे इल्जाम लगवाना, फिर केस दर्ज करने और जेल भेजने का डर बनाकर , जमकर अवैध वसूली करके ,फिर समझौता कर लेते हैं । ये काम बहुत बड़े पैमाने पर चल रहा है । दहेज़ के केस के दुरुपयोग की बात होने लगी तो, देवर, ज्येष्ठ, और ससुर पर छेड़छाड़ का इल्जाम लगाओ, डराओ, अवैध वसूली करो और समझौता करो । इस काम में पुलिस , वकील, प्रोटेक्शन ऑफिसर , तथाकथित महिला कल्याण संगठन , और उनके दलाल मित्र शामिल होते है ।

Judiciary should also come under CPA (Consumer Protection Act).

Finally something for the doctors..
DO NOT IGNORE.
"DOCTORS VS JUDGES":
Judiciary should also come under CPA (Consumer Protection Act).
"Every DOCTOR must READ and SHARE this article.

--In the Salman Khan hit and run case the LOWER court judge and the HIGH court judge had the SAME pieces of EVIDENCE to deal with.
--They also had the SAME Indian LAW to abide by and most probably they had similar education qualifications too.
--Yet they INTERPRETED the situation in absolutely CONTRASTING manner and gave verdicts which are poles apart.
--Just imagine what would have happened if a YOUNG doctor sitting in a GOVERNMENT hospital doctor catering to hundreds of patients in a day had diagnosed a celebrity patient presenting with gastric discomfort as GASTRITIS and another hospital had LATER on diagnosed that patient to be having a MYOCARDIAL INFARCTION. I am sure that doctor would have been screwed and jailed.
--A JUDGE gets YEARS to decide on a case
unlike a DOCTOR who is expected to diagnose and treat everything in the BLINK of an eye.
--If a doctor making a wrong diagnosis can be prosecuted shouldn't a judge giving wrong verdicts meet the same fate?
--If hospitals can be sued for not admitting poor patients shouldn't the courts be prosecuted for having lacs of impending cases?
--Is it not appalling that a judge taking 12 years to give a wrong verdict gets away unhurt and a doctor making one mistake is screwed by our legal system?
--Doctors practice medicine which is more of an art than an exact science whereas law is absolutely 100% manmade, yet doctors are expected to be right on all occasions.
--If doctors and hospitals have a duty towards the society then does the judiciary not have a responsibility towards the socitey.
--If there is so much of hue and cry in media about doctors and hospitals charging huge sums from patients then why do we not ever hear a word on the fee that lawyers like Manu singhvi and Jethmalani charge for their court appearances.
--Government often talks about putting a capping on the fees doctors charge for various procedures but their is no talk of putting a capping on the fee that these lawyers charge to get justice for their clients.
--If health is a citizen's right then so is justice. Shall we take our minds off worshipping false heroes & think?
Y
***JUDICIARY SHOULD ALSO COME UNDER CPA (CONSUMER PROTECTION ACT)***
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कोई बेटी का बाप कितना भी चालाक क्यों न हो , शादी करने के बाद जब बेटी घर बैठ जाती है तो बड़े 2 , लोगों का नशा उत्तर जाता है

कोई बेटी का बाप कितना भी चालाक क्यों न हो , शादी करने के बाद जब बेटी घर बैठ जाती है तो बड़े 2 , लोगों का नशा उत्तर जाता है , बस थोडा इन्तजार करना पड़ता है ..........
आज नारनौल कोर्ट में मेरी तारीख थी । ससुराल वाले, समझौते के लिए घूम रहे है । पहले तो मेरा गुड़गांव में पत्नी के नाम ख़रीदा मकान हड़फने के लिए, झूठा दहेज़ का केस किया। अब किस बात का समझौता............??? दरअसल हमने गुजारा भत्ता के केस में बाप, बेटी और जज को ऐसा उलझा लिया है कि तीनो को सजा होगी । जजों की तरफ से भी दबाब है कि किसी तरीके से मनोज का नारनौल आना बंद करो, वर्ना ये हमें टेंशन देता रहेगा। और सब कुछ ठीक ठाक रहा तो विश्वास करना ये केस देश का पहला गुजारा भत्ता का केस होगा, जिसे हिंदुस्तान के पीड़ित लोग अनुसरण करेंगे .......??? क्योंकि जज साहब को हमने पकड़ लिया है ।
आज उसकी भाभी आई थी , कोर्ट में ड्रामा करने,.......... जब हमनें साफ मना कर दिया, तो उसका चेहरा देखने लायक था, क्योकि मैं उसके फंदे में नहीं उलझा । अभी तो सबक सिखाने का मौका आया है और अब हम समझौता कर लें , क्यों .......??? बीज बोया है तो अब तड़फ तड़फ कर , भुगतो ......!!!

एक दिन ये केस, देश के सभी पीड़ित लोगों के लिए, अनुसरण करने वाला केस बनेगा ......

कोई बेटी का बाप कितना भी चालाक क्यों न हो , शादी करने के बाद जब बेटी घर बैठ जाती है तो बड़े 2 , लोगों का नशा उत्तर जाता है , बस थोडा इन्तजार करना पड़ता है ..........
आज नारनौल कोर्ट में मेरी तारीख थी । ससुराल वाले, समझौते के लिए घूम रहे है । पहले तो मेरा गुड़गांव में पत्नी के नाम ख़रीदा मकान हड़फने के लिए , झूठा दहेज़ का केस किया। अब किस बात का समझौता............???
आज उसकी भाभी आई थी कोर्ट में ड्रामा करने,........ खूब गिड़गड़ाती रही, ...... जो सीखकर आई थी , वो सब ड्रामे करती रही..... जब हमनें साफ मना कर दिया, तो उसका चेहरा देखने लायक था, क्योकि मैं उसके फंदे में नहीं उलझा ।
दरअसल गुजारा भत्ता के केस में हमने बाप बेटी और जज की गड़बड़ी पकड़ ली हैं , और तीनों को सजा होगी .......... !!! जजों की तरफ से भी दबाब है कि किसी तरह मनोज का नारनौल आना बन्द करो। वर्ना ये हमें टेंशन देता रहेगा । अभी तो सबक सिखाने का मौका आया है और अब हम समझौता कर लें , क्यों .......??? हमे पूरा विशवास है कि ---- एक दिन ये केस, देश के सभी पीड़ित लोगों के लिए, अनुसरण करने वाला केस बनेगा .......

जब हमें ये मालूम है कि मरने के बाद हमारा क्या होना है .........???, क्या साथ जाना है ........... ??? फिर भी .........

जब हमें ये मालूम है कि मरने के बाद हमारा क्या होना है .........???, क्या साथ जाना है ........... ??? फिर भी ............
पिछले कई दिनों में हम इस चिंता में हैं कि आखिर हम इस देश की हर तरफ , कदम2 पर हो रही बर्बादी , को रोककर देश के हालातों को बदलकर , लोगों की जिंदगी बेहतर कैसे बनाएँ ......???
चारों तरफ स्वार्थ, लालच, घटियापन , एक दूसरे को नीचा दिखाना , आखिर कहाँ जा रहे हैं हम , और ये सब किसलिए और क्यों कर रहे है हम ......???
एक कड़वी सच्चाई पेश कर रहे हैं , निवेदन है इस पर गौर जरूर करना ............
जब हमारे किसी परिवार के सदस्य या किसी नजदीकी परिचित या किसी रिश्तेदार की मृत्यु हो जाती है , तब सब ये कहते हैं कि जल्दी से उठाओ , जल्दी करो ( उठाओ मतलब फटाफट दफ़नाने की तैयारी करो ) और जब शमशान घाट में दफनाते है तो लगभग आधे घंटे के बाद ही चलो , चलो ......!!! कहने लगते है ......!!!
हमारे कहने का अभिप्राय है कि आपकी या हमारी जिंदगी का यही सच है । और हम एक दूसरे की जान लेने को तैयार रहते है ....???
आखिर ये सब घटियापन किसलिए ....???
हम अच्छे काम को आगे बढ़ाने के लिये , अपना सहयोग / योगदान करने में इतनी कंजूसी क्यों करते है ....??? जब हमें ये मालूम है कि मरने के बाद हमारा क्या होना है , क्या साथ जाना है ...???

कपिल सिब्बल जैसे महंगे वकील ने JNU के कन्हैया की पैरवी की तो उसकी फीस किसने दी ......???

मुझे ये देखकर बड़ी हैरानी हुई कि कपिल सिब्बल जैसे महंगे वकील ने JNU के कन्हैया की पैरवी की तो उसकी फीस किसने दी ......???
और ये महंगे और नामचीन वकील केवल आतंकवादी , देशद्रोही, गद्दारी और राष्ट्र को तोड़ने वाले लोगों के पक्ष में पैरवी के लिए ही क्यों जाते है .....???
कभी किसी मजबूर को न्याय दिलवाने के लिए, इनको कभी देखा आपने ........???

देशहित में हमें आपकी राय चाहिए.........

 अभी हरियाणा में जाटों ने जिस प्रकार से न केवल सार्वजानिक संपत्ति , बल्कि स्कूल, दुकान, घरों तक को जलाया, । इस से लोगों का बेहद खतरनाक तरीके से नुकसान किया गया। इसके कारण न केवल हरियाणा , बल्कि पूरे देश में जाटों ने अपनी असली औकात और सोच दिखा ही दी। अब दिखावे के लिए भाईचारे का ड्रामा कर रहे हैं । अभी सरकार को फिर धमकी दी है कि जाटों के खिलाफ दर्ज हुए मुकदमे रद्द करो, नहीं तो इस बार न केवल शहरों , बल्कि गाँवों में भी वही घटनाएं दोहराई जाएँगी । ये तो गुंडागर्दी की हद हो गई, भाइयों....... मतलब कोई अगर रजनीतिक और आर्थिक रूप से ताकतवर हो गया, तो उसको कुछ भी करने की छूट........!!!

न्यायपालिका भी बड़ी2 बातें करती है, क्या इन लोगों के खिलाफ देशद्रोह का केस नहीं बनता ..........!!! और बनता है तो, देश के जजों की आँखें बंद क्यों है .........???
वैसे तो सेना की नियत पर सवाल उठाने के कम ही मौके आये है । दलबीर सिहाग जोकि थल सेना अध्यक्ष है और जाट भी है। अभी मुझे पता चला की उसने जाटों को बचाने के लिए, जानबूझकर जाट रेजिमेंट को भेजा, उन्होंने सख्त कार्यवाही की ही नहीं......!!! वो तो गोरखा रेजिमेंट के जवान भाइयों ने हिम्मत दिखाई थी। 

अब मुद्दे की बात ये है कि ---हमारे देश में ऐसे कानून बनाने की जरुरत है कि किसी भी प्रकार के आन्दोलन, जलसा, जलूस , भीड़ के द्वारा किसी भी व्यक्तिगत या सार्वजनिक संपत्ति ( जिसमे स्कूल, कॉलेज, दुकान, घर, थाने या कोई और संपत्ति )का नुकसान करने पर , उसके नुकसान की भरपाई उसके मुखिया, / अगुआई करने वाले, लोगों या संस्थाओं से की जायेगी । दूसरा ये अपराध गैर जमानती होगा । हरियाणा में ये कानून हॉस्पिटल में तोडफोड़ रोकने के लिए बनाया गया था। अब ऐसा कानून पूरे देश के लिए बनाना जरूरी हो गया है। ये इसलिए, जरूरी हो गया है, क्योंकि इसकी कीमत शरीफ लोग टैक्स भरकर चुकाते हैं । ये लोगों के खून पसीने की कमाई का पैसा है । इस पैसे को बर्बाद होने से बचाकर, कितने बच्चों को पढ़ाया जा सकता था..........???, कितने भूखे लोगों का पेट भरा जा सकता था ........???
इस कानून के बनने से , कोई भी समूह, व्यक्ति, संगठन, गुंडागर्दी करते हुए, तोड़फोड़ करने से पहले चार बार सोचेगा ............???
देश के लोगों की खून पसीने की कमाई बर्बाद होने से बचेगी और ये पैसा देश के निर्माण में सदुपयोग हो सकेगा ......!!! वैसे ही इस देश में अनेकों गंभीर समस्याओं की भरमार है। और हम इस बर्बादी को सहन नहीं कर सकते......!!!

 अगर आपको हमारे विचार में दम लगे , तो ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाएं ।

अब मुझे इस बात पर 200% यकीन हो गया है कि सहारा प्रमुख सुब्रत रॉय की ,सुप्रीम कोर्ट के द्वारा की गई गिरफ्तारी , गैर कानूनी है

अब मुझे इस बात पर 200% यकीन हो गया है कि सहारा प्रमुख सुब्रत रॉय की ,सुप्रीम कोर्ट के द्वारा की गई गिरफ्तारी , गैर कानूनी है । सुप्रीम कोर्ट ने ऐसा क्यों .......??? और किस दबाब में किया .........??? इसका जबाब तो बड़े जज ही दे सकते है । हम तो इस हालातों से आपको अवगत करवाना चाहते हैं , कि वक्त रहते कुछ कर लो,....…..... या जो करे उसके साथ लग जाओ,........ वरना शिकार आप भी बनेंगे,.........!!! कोई आज, .......तो कोई कल ........!!!
आदरणीय देशवासियों , आज हम आपको सबूतों के साथ ये दिखाएंगे कि देश के सबसे बड़े न्याय के मंदिर यानि कि सुप्रीम कोर्ट में किस हद तक गड़बड़ियां हो रही हैं । ये एक खतरनाक संकेत है कि अब हमारे साथ कुछ भी हो सकता है और दूसरा ये कि अब न्यायपालिका भी नेताओं वाले अंदाज में खतरनाक खिलवाड़ कर रही है । अधिक जानकारी के लिए इस लिंक पर जाकर हमारी RTI के डाक्यूमेंट्स को पढ़ें ।